कटनी जिले के स्लीमनाबाद थाना क्षेत्र के ग्राम गुदरी में 20-21 जून 2024 की रात में फूलचंद भूमिया उम्र 30 वर्ष जो खेत की रखवाली के लिए निकला था, जिसका शव एक गड्ढे में डला हुआ पाया गया। जिस पर थाना स्लीमनाबाद में मर्ग सदर कायम कर जांच में लिया गया। जांच दौरान मृतक फूलचंद भुमिया की पी0एम0रिपोर्ट प्राप्त हुई, जिसके अवलोकन पर मृतक के सिर, पसलियों और रीढ़ की हड्डियों में गहरी चोटों की पुष्टि हुई, जिससे साफ था कि चोटें सामान्य दुर्घटना के कारण नहीं थीं।
घटना की सूचना मिलने के बाद कटनी पुलिस ने त्वरित कार्यवाही करते हुए भारतीय दंड संहिता की धारा 302 के तहत हत्या का मामला दर्ज कर लिया।
मृतक के परिवार जनों के आरोप प्रत्यारोप के कारण कटनी पुलिस अधीक्षक अभिजीत कुमार रंजन आईपीएस के द्वारा एक विशेष जांच टीम (SIT) का गठन करते हुये थाना प्रभारी माधवनगर अनूप सिंह को विवेचना सौंपी गई, जिनके सहायतार्थ रश्मि सोनकर उपनिरीक्षक महिला थाना प्रभारी, संतोष सिंह सहायक उप निरीक्षक, प्रधान आरक्षक अविनाश मिश्रा, अंजनी मिश्रा एवं आरक्षक अजय साकेत को लगाया गया था।
मामले की तह तक पहुँचने के लिए पुलिस ने साक्ष्यों और तथ्यों का गहन निरीक्षण किया और संभावित आरोपियों की पहचान करते हुए जांच की प्रक्रिया को तेजी से आगे बढ़ाया।
जांच के दौरान पुलिस ने बाल मुकुंद उर्फ मोनू सोनी और आयुष सोनी को संदिग्ध पाया। जब फूलचंद भूमिया अपने खेत की तरफ जा रहा था तो इन दोनों ने उसका रास्ता रोक लिया और मोनू सोनी ने फूलचंद भूमिया से कहा कि न रे भूमिया तूने सोनू भईया के खिलाफ हरिजन का केस लगाया है उसमें समझौता कर ले और इसके बदले पैसे ले ले तो फूलचंद बोला 3000 दे दो तो मोनू ने कहा कि मैं 5000 दे दूंगा लेकिन पास में बैठे आयुष ने बोला की 1000 और दे दो, इस बात को लेकर फूलचंद भूमिया नाराज हो गया और बोला कि मेरे को गरीब आदिवासी समझ के रखा है क्या जो मुझे इस प्रकार सौदा कर रहे हो और उसके बाद गाली गलौज करते हुए फूलचंद भूमिया अपने खेत की तरफ चला गया । आयुष सोनी एवं मोनू को यह बात बुरी लगी । जिसका बदला लेने दूसरे रास्ते से उसका पीछा करते हुए खेत की रखवाली करते हुए आम के पेड़ के पास खड़ा मिल गया । फ़िर आयुष सोनी एवं मोनू सोनी बोले कि तू आदिवासी तुम हम लोगों को गाली कैसे दिया और और हाथापाई हुई जिसमें आयुष सोनी द्वारा मृतक भूमिया के नाक पर एवं मुंह पर घूंसा मारा गया जिससे मृतक के नाक से खून निकलने लगा और वह लड़खड़ाने लगा। इसके बाद दोनों ने उसके साथ और मार पीट की और गड्ढे में धकेल दिया जिससे मृतक गड्ढे में गिर गया गड्ढे में गिरने के बाद मोनू और आयुष ने बारी बारी करके उसकी छाती पर पैरों से वार किया जिसके कारण उसकी हड्डी टूट गई पसलियां टूट गई और उसे फिर वही छोड़कर अपने घर चले गए। आरोपियों से सख्ती से पूछताछ की गई, जिसमें उन्होंने घटना की पूरी सच्चाई बताये। आरोपियों ने कबूल किया कि हरिजन एक्ट के मामले में फूलचंद से उनकी झड़प हुई। इसी झड़प में मोनू ने फूलचंद को मुक्के और लात से मारा और आयुष ने उसे गड्ढे में गिरा दिया और उसके सीने में कूद-कूद कर लात से वार किए, जिससे फूलचंद की पसलियां टूट गईं और उसकी मौके पर ही मृत्यु हो गई।
आरोपियों के कब्जे से तीन नग मोबाईल तथा घटना समय पहने हुये कपड़े जप्त किये गये |
प्रारंभ में आरोपियों ने पुलिस को भ्रमित करने की कोशिश की, लेकिन सख्ती से पूछताछ करने पर उन्होंने अपराध स्वीकार कर लिया। माधवनगर पुलिस ने परस्पर विरोधाभासी बयानों का गहराई से आंकलन किया और सभी साक्ष्यों को व्यवस्थित ढंग से एकत्रित कर ठोस निष्कर्ष तक पहुँची कि हत्या का कारण आरोपियों के बीच आपसी विवाद था।
कटनी पुलिस ने इस जटिल और अंधी हत्या की गुत्थी को सुलझाने में अभूतपूर्व सफलता प्राप्त की है। दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है और आवश्यक कानूनी कार्रवाई के उपरांत उन्हें माननीय न्यायालय, कटनी में पेश किया गया।
कटनी पुलिस की इस मामले में कार्यक्षमता और प्रतिबद्धता सराहनीय रही। इस महत्वपूर्ण उपलब्धि के लिए कटनी पुलिस की पूरी टीम बधाई की पात्र है।
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